श्रीकृष्ण बाल लीला, माखन चोरी एवं गोवर्धन पूजा के प्रसंग का कथा में वर्णन किया

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हनुमानगढ़। जंक्शन सेक्टर 6 स्थित श्री कल्याण कमल आश्रम में चल रही  श्रीमद् भागवत कथा सप्ताह ज्ञान यज्ञ के पांचवे दिन कथावाचक भानु देव शास्त्री ने श्रीकृष्ण बाल लीला, माखन चोरी एवं गोवर्धन पूजा के प्रसंग का कथा में वर्णन किया। पांचवें दिन की कथा की शुरुआत मुख्य यजमान श्रीमती कविता शर्मा व नीपेन शर्मा ने विधिवत पूजा अर्चना करवाकर की। कथा व्यास भानु देव शास्त्री ने कथा का वाचन करते हुए कहा कि कृष्ण ने ब्रजवासियों को मूसलाधार वर्षा से बचाने के लिए सात दिन तक गोवर्धन पर्वत को अपनी सबसे छोटी उंगली पर उठाकर रखा और गोप-गोपिकाएं उसकी छाया में सुखपूर्वक रहे। सातवें दिन भगवान ने गोवर्धन को नीचे रखा और हर वर्ष गोवर्धन पूजा करके अन्नकूट उत्सव मनाने की आज्ञा दी। तभी से यह उत्सव अन्नकूट के नाम से मनाया जाने लगा।

इसके बाद महाराज जी ने श्रीकृष्ण भगवान के माखन चोरी की कथा सुनाई। कथा सुनकर प्रभु भक्त भाव विभोर हो गए। भागवत आचार्य ने श्रीकृष्ण की माखन चोरी की लीला का वर्णन करते हुए कहा कि जब श्रीकृष्ण भगवान पहली बार घर से बाहर निकले तो उनकी बृज से बाहर मित्र मंडली बन गई। सभी मित्र मिलकर रोजाना माखन चोरी करने जाते थे। सब बैठकर पहले योजना बनाते की किस गोपी के घर माखन की चोरी करनी है। श्रीकृष्ण माखन लेकर बाहर आ जाते और सभी मित्रों के साथ बांटकर खाते थे। भगवान बोले जिसके यहां चोरी की हो उसके द्वार पर बैठकर माखन खाने में आनंद आता है। माखन चोरी की लीला का बखान करते हुए उन्होंने भगवान कृष्ण के बाल रूप का सुंदर प्रकार से वर्णन किया। उन्होंने बताया कि भगवान कृष्ण बचपन में नटखट थे। भगवान श्रीकृष्ण की विभिन्न लीलाओं से जुड़ी कथा को सुनने व अधिकाधिक संख्या में यज्ञ व कथा में भागीदार बनने के लिए भक्तों में भारी उत्साह और जोश दिखाई पड़ रहा है।

आयोजन समिति केसदस्यों ने बताया कि 09 मई से 15 मई तक श्री कल्याण कमल आश्रम में श्रीमद् भागवत कथा सप्ताह ज्ञान यज्ञ का आयोजन किया जा रहा, जिसमें अनंत श्री विभूषि 1008 महामण्डलेश्वर स्वामी श्री कमलानंद गिरि जी महाराज, स्वामी श्री सुशांतानंद गिरि जी महाराज के आशीर्वाद से आचार्य पंडित भानूदेव शास्त्री हरिद्वार वाले कथा का वाचन कर रहे है। उन्होने बताया कि नियमित रूप से कथा विश्राम पर भाग्यशाली भक्तजनों को आध्यात्मिक प्रश्नोत्तरी के माध्यम से सुन्दर सुन्दर उपहार दिये जायेगे व 16 मई को कथा के समापन पर हवन यज्ञ व विशाल भण्डारे का आयोजन होगा। इस मौके पर बिंदु शर्मा, ललिता भाटिया, तनुजा चतुर्वेदी, राकेश महर्षि, भूमि शर्मा, चंद्रा देवी, पुष्पा देवी, रमेश रहेजा सरस्वती देवी, सरिता शर्मा, कांता देवी, अंजू शर्मा, राखी बहल, भंवरी देवी, सीमा रोहिल्ला, रिंकू देवी, कुसुम लता गोदारा, डेजी गुप्ता, हनुमान छिंपा, साहब राम मटोरिया, सरला देवी शर्मा, रजनी शर्मा, कमला बिश्नोई, राजरानी राजदेव, गुड्डी देवी, उषा गुप्ता, निशा सिंगला, जया टिक्यानी, मंजू ननकानी, सीमा शर्मा, दुर्गा प्रसाद शर्मा, भवानी शंकर शर्मा, सुरेश शर्मा ,गोविंद राम शर्मा, मनिंदर गौड ,प्रेमचंद कुक्कड़, प्रेम रतन महर्षि ,राजकुमार महर्षि, राजकुमार भाटिया रमेश रहेजा मनोज बंसल रामेश्वर कुशवाहा, सुनील शर्मा ,पवन अग्रवाल, मुकेश गोदारा, सुरेश कुमार शर्मा कानूनगो, मनोज बंसल व अन्य श्रद्धालु मौजूद थे।

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