ऑनलाइन गेमिंग और कसीनो पर लग सकता है 28% GST, जानें अब तक क्या हुआ मंहगा?

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बिजनेस डेस्क: चंडीगढ़ में आज जीएसटी काउंसिल की बैठक का दूसरा दिन है। पहले दिन मंगलवार को दही, पनीर, शहद, मांस और मछली जैसे डिब्बा बंद और लेबल-युक्त या ब्रांडेड चीजों पर 5% जीएसटी लगाने का निर्णय लिया गया है। वहीं अब बैंक से चैकबुक मंगाना भी महंगा होगा। इस पर 18% जीएसटी लगाया गया है।

इसके अलावा अब होटल में रुकना और एजुकेशन में भी जीएसटी की महंगाई देखने को मिलेगी। जनता पहले ही बढ़ती मंहगाई से तंग है अब जीएसटी मार कहीं कमर ना तोड़ दे। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण  की अध्यक्षता वाली परिषद में राज्यों के वित्त मंत्री भी शामिल हैं। राज्यों को जून 2022 के बाद राजस्व क्षतिपूर्ति की व्यवस्था जारी रखने तथा कैसिनो, ऑनलाइन गेम और घुड़दौड़ पर 28 प्रतिशत जीएसटी लगाने व छत्तीसगढ़ जैसे विपक्ष-शासित राज्य जीएसटी क्षतिपूर्ति व्यवस्था को पांच साल के लिए जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा बुधवार को होगी।

चलिए जानते हैं कहां-कहां कितनी लगी जीएसटी-

18 प्रतिशत जीएसटी 
जीएसटी काउंसिल ने कुछ जरूरी सेवाओं पर जीएसटी बढ़ा दिया है। इसके तहत चेक जारी करने पर बैंकों द्वारा लिये जाने वाले शुल्क पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगेगा।

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12 प्रतिशत जीएसटी 
अब होटल में रहना मंहगा होगा। दरअसल, 1,000 रुपये प्रतिदिन से कम किराये वाले होटल कमरों पर 12 प्रतिशत जीएसटी लगेगा। अभी इसपर कोई कर नहीं लगता है। एटलस समेत नक्शे और चार्ट पर 12 प्रतिशत जीएसटी लगेगा।

सोना और कीमती पत्थर हो सकते हैं महंगे
जीएसटी काउंसिल ने सोना और कीमती पत्थरों की अंतरराज्यीय आवाजाही के लिए ई-वे बिल जारी करने की राज्यों को मंजूरी दी है। इससे इन सामानों की कीमतों में कुछ तेजी आ सकती है।

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यहां मिली राहत
जीएसटी काउंसिल में इस बात पर सहमति बनी है कि भारांश औसत जीएसटी को बढ़ाने के लिये दरों को युक्तिसंगत बनाना महत्वपूर्ण है। भारांश औसत जीएसटी घटकर 11.6 प्रतिशत पर आ गया है जो जीएसटी लागू होने के समय 14.4 प्रतिशत था। जीएसटी परिषद ने खाद्य तेल, कोयला, एलईडी लैंप, ‘प्रिंटिंग/ड्राइंग इंक’, तैयार चमड़ा और सौर बिजली हीटर समेत कई उत्पादों पर उलट शुल्क ढांचे (कच्चे माल और मध्यवर्ती वस्तुओं के मुकाबले तैयार उत्पादों पर अधिक कर) में सुधार की भी सिफारिश की है।

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